
गोंडा 27 दिसंबर। जिलाधिकारी नेहा शर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार को कलेक्ट्रेट सभागार में आगामी पसका मेला की तैयारियों के संबंध में महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। इस बैठक में पसका कमेटी और संबंधित विभागों के अधिकारियों ने हिस्सा लिया। बैठक का मुख्य उद्देश्य मेले की तैयारियों का समय से आकलन कर सभी व्यवस्थाओं को समयबद्ध तरीके से पूरा करना था।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिए कि मेले के दौरान आने वाले श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो। उन्होंने विभिन्न विभागों को उनकी जिम्मेदारियों की सूची सौंपते हुए यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए कि सभी कार्य मेला शुरू होने से पहले पूरे हो जाएं। उन्होंने कहा, “पसका मेला हमारे जिले की सांस्कृतिक और धार्मिक विरासत का प्रतीक है। इसकी सफल व्यवस्था जिला प्रशासन की जिम्मेदारी है।”
बैठक में सफाई, बिजली, सुरक्षा और यातायात प्रबंधन सहित कई महत्वपूर्ण पहलुओं पर चर्चा हुई। जिलाधिकारी ने स्नान घाटों की तैयारी को प्राथमिकता देने की बात कही और उप जिलाधिकारी करनैलगंज भारत भार्गव को निर्देश दिए कि घाटों की सफाई समय से पहले पूरी कराई जाए। इसके साथ ही, श्रद्धालुओं के लिए पानी, मोबाइल टॉयलेट और एंबुलेंस जैसी सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करने का आदेश दिया।
सुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं पर विशेष ध्यान
पसका मेला में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था को पुख्ता बनाने पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। अपर पुलिस अधीक्षक राधेश्याम राय ने बताया कि मेले में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस बल की विशेष तैनाती की जाएगी। इसके साथ ही, जल पुलिस व्यवस्था को सक्रिय किया जाएगा ताकि स्नान घाट पर किसी प्रकार की अप्रिय घटना न हो।
फायर ब्रिगेड अधिकारी नितेश शुक्ला ने अग्निशमन सेवाओं की तैयारी की जानकारी दी और बताया कि मेला क्षेत्र में फायर टेंडर तैनात किए जाएंगे। साथ ही, किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए एक आपातकालीन रिस्पॉन्स टीम तैयार की जाएगी।
जिलाधिकारी ने स्वास्थ्य सेवाओं पर जोर देते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. रश्मि वर्मा को निर्देश दिए कि मेले में मेडिकल कैंप स्थापित किया जाए। इन कैंपों में प्राथमिक चिकित्सा की सुविधाएं उपलब्ध होंगी और आपात स्थिति में तुरंत एंबुलेंस सेवाएं प्रदान की जाएंगी।
यातायात प्रबंधन और बुनियादी ढांचे की तैयारी
पसका मेला में श्रद्धालुओं की आवाजाही को सुगम बनाने के लिए जिलाधिकारी ने यातायात और पार्किंग व्यवस्था को लेकर अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए। उन्होंने रोडवेज विभाग को मेला स्थल तक विशेष बस सेवाएं चलाने का आदेश दिया। साथ ही, पार्किंग स्थल का चिन्हांकन और बैरिकेडिंग व्यवस्था सुनिश्चित करने की बात कही।
बैठक में डीपीआरओ ने बताया कि सफाई कर्मियों की टीम बनाई जा रही है, जो मेले के दौरान नियमित रूप से सफाई सुनिश्चित करेगी। इसके अलावा, एक्सईएन सीडी 2 ने बिजली व्यवस्था पर चर्चा करते हुए कहा कि मेला क्षेत्र में पुख्ता विद्युत आपूर्ति के लिए अतिरिक्त ट्रांसफॉर्मर लगाए जाएंगे।
बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने यह भी कहा कि श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा को लेकर सभी विभाग एकजुट होकर काम करें। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिया कि मेले के दौरान किसी भी प्रकार की असुविधा या अव्यवस्था को रोकने के लिए नियमित निरीक्षण किया जाए।
अधिकारियों की उपस्थिति और सहभागिता
इस बैठक में अपर जिलाधिकारी आलोक कुमार, उप जिलाधिकारी करनैलगंज भारत भार्गव, पुलिस क्षेत्राधिकारी करनैलगंज, फायर ब्रिगेड अधिकारी नितेश शुक्ला, बीडीओ परसपुर, थानाध्यक्ष परसपुर और पसका कमेटी के पदाधिकारी शामिल रहे। सभी ने अपने-अपने विभागों से संबंधित तैयारियों की रिपोर्ट पेश की और जिलाधिकारी के निर्देशों का पालन करने की प्रतिबद्धता जताई।
पसका मेला न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह जिले की प्रतिष्ठा से भी जुड़ा हुआ है। जिलाधिकारी ने कहा, “हमारा प्रयास है कि श्रद्धालुओं को न केवल बेहतर सुविधाएं मिलें, बल्कि वे एक सुरक्षित और सुखद अनुभव लेकर लौटें।”
इस तरह, जिला प्रशासन ने मेले की सफल आयोजन के लिए अपनी तैयारियों को गति दे दी है और सभी संबंधित विभाग अपने कार्यों को अंतिम रूप देने में जुट गए हैं।