
विश्वस्तरीय सुविधाओं से युक्त वनतारा बनेगा वन्यजीव संरक्षण का वैश्विक केंद्र
जामनगर, 4 मार्च 2025। भारत के वन्यजीव संरक्षण प्रयासों को एक नई ऊंचाई प्रदान करते हुए, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात के जामनगर में 3,000 एकड़ में फैले अत्याधुनिक पशु संरक्षण केंद्र ‘वनतारा’ का भव्य उद्घाटन किया। यह केंद्र न केवल भारत में बल्कि पूरे विश्व में वन्यजीवों के संरक्षण, पुनर्वास और चिकित्सा सुविधाओं के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।
वनतारा की स्थापना उद्योगपति मुकेश अंबानी के बेटे अनंत अंबानी की पहल पर की गई है, जो वन्यजीवों के संरक्षण के प्रति अपनी गहरी प्रतिबद्धता रखते हैं। इस परियोजना को दुनिया के सबसे बड़े निजी वन्यजीव पुनर्वास केंद्रों में से एक माना जा रहा है, जहां वन्यजीवों को न केवल प्राकृतिक माहौल मिलेगा, बल्कि उनके संरक्षण और उपचार की विश्वस्तरीय सुविधाएं भी उपलब्ध होंगी।
शंख ध्वनि और मंत्रोच्चार के बीच भव्य उद्घाटन
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब वनतारा पहुंचे, तो अंबानी परिवार और वनतारा के अधिकारियों ने पारंपरिक रीति-रिवाजों के साथ उनका स्वागत किया। शंख ध्वनियों, मंत्रोच्चार और लोक कलाकारों के मनमोहक गायन-वादन के बीच प्रधानमंत्री ने रिबन काटकर इस महत्वपूर्ण केंद्र का उद्घाटन किया।
इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने वनतारा परिसर में बने मंदिर में पूजा-अर्चना भी की और फिर पूरे केंद्र का गहन निरीक्षण किया। उन्होंने वनतारा में उपलब्ध सुविधाओं को नजदीक से देखा और वन्यजीवों की देखभाल के प्रति अधिकारियों और कर्मचारियों की प्रतिबद्धता की सराहना की।
वनतारा: भारत का सबसे बड़ा पशु संरक्षण केंद्र
वनतारा केंद्र 3,000 एकड़ में फैला हुआ है और इसे विभिन्न प्राकृतिक आवासों के आधार पर डिज़ाइन किया गया है। यह एक ऐसा अनूठा प्रयास है, जो भारत में वन्यजीवों की रक्षा और उनके पुनर्वास के लिए क्रांतिकारी बदलाव लाएगा।
वनतारा में प्रमुख केंद्र:
किंगडम ऑफ लॉयन: एशियाई शेरों के लिए एक विशेष क्षेत्र, जहां उन्हें प्राकृतिक आवास के अनुरूप रखा गया है।
किंगडम ऑफ रेप्टाइल्स: इस क्षेत्र में दुर्लभ और संकटग्रस्त सरीसृपों को संरक्षित किया गया है।
किंगडम ऑफ सील: समुद्री जीवों के संरक्षण के लिए एक विशेष केंद्र।
चीता ब्रीडिंग सेंटर: विलुप्तप्राय चीतों के संरक्षण और प्रजनन के लिए यह केंद्र महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
गजनगरी: हाथियों के लिए 1,000 एकड़ में फैला यह क्षेत्र विशेष रूप से बीमार और घायल हाथियों के पुनर्वास के लिए बनाया गया है।
वनतारा में हाथियों के लिए दुनिया का सबसे बड़ा अस्पताल भी स्थापित किया गया है, जहां अत्याधुनिक चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध हैं। यहां हाथियों के लिए विशेष तालाब और जकूजी भी बनाई गई है, जिससे उन्हें प्राकृतिक माहौल मिल सके।
अत्याधुनिक मल्टी-स्पेशियलिटी हॉस्पिटल: वन्यजीवों के लिए वरदान
वनतारा में उपलब्ध एक और अत्याधुनिक सुविधा है मल्टी-स्पेशियलिटी हॉस्पिटल, जो वन्यजीवों की चिकित्सा के लिए विश्वस्तरीय तकनीक से लैस है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अस्पताल का दौरा किया और वहां मौजूद चिकित्सा सुविधाओं को करीब से देखा।
वनतारा हॉस्पिटल में उपलब्ध विशेष चिकित्सा सेवाएं:
- डायग्नोस्टिक सूट में सीटी स्कैन, एमआरआई, अल्ट्रासाउंड और एंडोस्कोपी की सुविधा
- वन्यजीवों के लिए आईसीयू और अत्याधुनिक ऑपरेशन थियेटर
- नवजात वन्यजीवों के लिए विशेष नर्सरी
- दुर्लभ और संकटग्रस्त प्रजातियों के लिए विशेष पुनर्वास केंद्र
प्रधानमंत्री ने इन सुविधाओं को देखकर संतोष व्यक्त किया और कहा कि यह केंद्र न केवल भारत में बल्कि पूरे विश्व में वन्यजीव चिकित्सा के क्षेत्र में क्रांति लाने का काम करेगा।
प्रधानमंत्री मोदी का वन्यजीवों के प्रति प्रेम: शावकों को पिलाया दूध
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वनतारा में शेर, बाघ, सफेद शेर, दुर्लभ क्लाउडेड तेंदुआ और एक सींग वाले गैंडे के शावकों को अपने हाथों से दूध पिलाया। प्रधानमंत्री की यह पहल वन्यजीव संरक्षण के प्रति उनकी गहरी संवेदनशीलता को दर्शाती है।
उन्होंने वनतारा के कर्मचारियों और चिकित्सकों को संबोधित करते हुए कहा, “आप सभी जो कार्य कर रहे हैं, वह मानवता के लिए एक महत्वपूर्ण योगदान है। वनतारा वन्यजीवों के संरक्षण और देखभाल में दुनिया के लिए एक मिसाल बनेगा।”
वनतारा: संकटग्रस्त प्रजातियों का नया घर
वनतारा केंद्र में एशियाई शेर, हिम तेंदुआ, सफेद शेर, गोल्डन टाइगर, क्लाउडेड तेंदुआ और एक सींग वाले गैंडे जैसे संकटग्रस्त प्रजातियों का संरक्षण किया जा रहा है।
वनतारा में संरक्षित कुछ प्रमुख वन्यजीव:
1. एशियाई शेर: विलुप्ति के कगार पर पहुंचे इन शेरों को यहां विशेष संरक्षण दिया जा रहा है।
2. सफेद शेर: इनकी दुर्लभता को ध्यान में रखते हुए वनतारा में इनका विशेष प्रजनन कार्यक्रम चलाया जा रहा है।
3. गोल्डन टाइगर: दुर्लभ प्रजाति का यह टाइगर दुनिया में बहुत कम संख्या में बचा है, जिसे यहां संरक्षित किया गया है।
4. हिम तेंदुआ: अत्यधिक ठंडे इलाकों में पाए जाने वाले इस दुर्लभ जीव को भी वनतारा में विशेष देखभाल मिल रही है।
5. एक सींग वाला गैंडा: विलुप्ति की कगार पर पहुंचे इन गैंडों के संरक्षण के लिए विशेष पहल की गई है।
वनतारा: वन्यजीव पर्यटन और शोध केंद्र
वनतारा न केवल एक संरक्षण केंद्र है बल्कि यह वन्यजीव पर्यटन और शोध के लिए भी एक प्रमुख केंद्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। यहां पर्यटकों को वन्यजीवों को करीब से देखने का मौका मिलेगा, वहीं वैज्ञानिक और शोधकर्ता भी दुर्लभ प्रजातियों पर अध्ययन कर सकेंगे।
विशेषज्ञों का मानना है कि वनतारा भविष्य में वन्यजीव संरक्षण की दिशा में एक ऐतिहासिक भूमिका निभाएगा।
प्रधानमंत्री मोदी का संदेश: ‘प्रकृति के प्रति जिम्मेदारी निभाएं’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर कहा, “हमारी धरती पर मौजूद हर जीव का संरक्षण करना हमारी नैतिक जिम्मेदारी है। भारत प्राचीन काल से प्रकृति पूजक रहा है, और वनतारा इस परंपरा को आधुनिक रूप में आगे बढ़ा रहा है।”
उन्होंने अंबानी परिवार, विशेष रूप से अनंत अंबानी को इस पहल के लिए बधाई दी और कहा कि वनतारा भारत को विश्व स्तर पर वन्यजीव संरक्षण के क्षेत्र में अग्रणी बनाएगा।
वनतारा से बदलेगी वन्यजीव संरक्षण की तस्वीर
वनतारा भारत के वन्यजीव संरक्षण प्रयासों में एक नया अध्याय जोड़ेगा। यह केंद्र वन्यजीवों के संरक्षण, पुनर्वास और चिकित्सा के क्षेत्र में दुनिया के लिए एक मॉडल बनेगा।
प्रधानमंत्री मोदी के इस दौरे ने वनतारा को वैश्विक मंच पर पहचान दिलाई और भारत को वन्यजीव संरक्षण में एक अग्रणी देश बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया।